रिपब्लिक TV मामला- सुप्रीम कोर्ट ने पुलिस आयुक्तों के साक्षात्कार देने पर जताई चिंता, कहा- “हमें उच्च न्यायालय में विश्वास रखना चाहिए।”

नई दिल्ली । टेलीविजन रेटिंग पॉइंट (TRP) के कथित घोटाले में मुंबई पुलिस द्वारा दिए गए समन के खिलाफ रिपब्लिक TV की याचिका की सुनवाई के दौरान गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि वो पुलिस आयुक्तों द्वारा साक्षात्कार देने को लेकर चिंतित है। जस्टिस डी.वाई. चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली बेंच जिसमें जस्टिस इंदु मल्होत्रा और जस्टिस इंदिरा बनर्जी भी हैं, ने कहा “हम पुलिस आयुक्तों के साक्षात्कार देने के बारे में चिंतित हैं।” ज्ञात हो कि इस घोटाले को लेकर मुंबई पुलिस कमिश्नर ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की थी और कई निजी चैनलों पर इंटरव्यू भी दिया था।

रिपब्लिक TV की ओर से मामले का प्रतिनिधित्व कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता हरीश साल्वे से कोर्ट ने मामले को बॉम्बे हाई कोर्ट में स्थानांतरित कराने के लिए कहा। शीर्ष अदालत ने कहा कि CRPC के तहत जांच का सामना करने वाले किसी भी सामान्य नागरिक की तरह याचिकाकर्ताओं को भी पहले उच्च न्यायालय जाना चाहिए। शीर्ष अदालत ने साल्वे से कहा, “हमें उच्च न्यायालय में विश्वास रखना चाहिए।”

वहीं मुंबई पुलिस ने रिपब्लिक TV की CBI जांच की मांग का विरोध करते हुए कहा है कि चैनल यह तय नहीं कर सकता कि किस एजेंसी को मामले की जांच करनी चाहिए। साथ ही मुंबई पुलिस ने आरोप लगाया है कि अर्नब गोस्वामी गवाहों को धमका रहे हैं और डरा रहे हैं। पुलिस ने कुछ दिनों की जांच के बाद रिपब्लिक TV, इंडिया टुडे TV, फक्त मराठी और बॉक्स सिनेमा को आरोपी बताया है।

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