Omicron Alert :10 राज्यों के इन 27 जिलों में तेजी से बढ़ रहे हैं कोरोना के केस, केंद्र सरकार ने लेटर लिख चेताया
कोरोना के बढ़ते केसेज को लेकर केंद्र सरकार पूरी तरह से अलर्ट मोड में है। कोरोना के नए वैरिएंट ओमिक्रॉन की बढ़ती दहशत के बीच राज्य सरकारों को लगातार चेतावनी दी जा रही है। कोरोना की तीसरी लहर के मंडरा रहे खतरे के बीच केंद्र सरकार की तरफ से लिखी गई चिट्ठी में 10 राज्यों के 27 जिलों में बढ़ते कोरोना केसेज पर चिंता जताई गई है। इस चिट्ठी में राज्यों से अपने यहां हालात पर नियंत्रण रखने और एहतियात बरतने की बात कही जा रही है।
यह चिट्ठी केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने 10 राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों को चिट्ठी लिखी है। इन राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के सचिव और प्रशासनिक अफसरों से उनके यहां बढ़ते कोरोना केसेज के बारे में चेतावनी दी गई है। इन 10 राज्यों के 27 जिलों में पिछले दो हफ्ते के अंदर कोरोना के मामलों में तेजी से इजाफा हुआ है। केंद्र सरकार ने राज्यों से इनकी सख्ती से मॉनीटरिंग किए जाने की जरूरत बताई है।
केंद्र ने जो लिस्ट जारी की है, वह दो हिस्सों में है। इसमें पहले हिस्से में उन जिलों को शामिल किया गया है जहां पॉजिटिविटी रेट 10 परसेंट से ज्यादा है। इसमें तीन राज्यों के आठ जिले शामिल हैं। इन राज्यों के नाम हैं मिजोरम, केरल और सिक्किम। वहीं केरल, मिजोरम, अरुणाचल प्रदेश, पुडुचेरी, मणिपुर, पश्चिम बंगाल और नागालैंड के अन्य जिले शामिल हैं, जहां पॉजिटिविटी रेट 5 से 10 फीसदी के बीच है।
Union Health Secretary Rajesh Bhushan writes to Chief Secretaries/Administrators of all states/UTs that 27 districts in 10 states/UTs, which have been reporting high #COVID positive rates in the past 2 weeks, need to be monitored very closely. pic.twitter.com/lG12dWEgqI
— ANI (@ANI) December 11, 2021
केंद्र सरकार की तरफ से जारी पत्र में इन राज्यों को यह भी बताया है कि कोरोना को नियंत्रित करने के लिए कौन से कदम उठाए जाने की जरूरत है। इसके तहत चिन्हित इलाकों में कंटेनमेंट जोन बनाने की ताकीद की गई है। साथ ही कोविड क्लस्टर, नाइट कफ्र्यू के साथ-साथ अधिक संख्या में एक जगह लोगों के इकट्ठा होने पर रोक लगाने के लिए भी कहा गया है। इसके साथ ही शादी समारोहों और अंतिम संस्कार के वक्त लोगों की संख्या तय करने संबंधी दिशानिर्देश देने की बात भी पत्र में कही गई है।