कोरोना वॉरियर: पंक्चर बनाने वाले शख्स ने भोपाल को सैनिटाइज करने में लगाई सालभर की कमाई

भोपाल। भोपाल में पंक्चर बनाने की छोटी सी दुकान चलाने वाले 33 साल के विजय अय्यर कोरोना संकट के दौरान सेवा करने के अपने उत्साह के चलते शहर में एक कोरोना योद्धा के तौर पर लोकप्रिय हो गए हैं। अय्यर ने साल भर की बचत को पिछले ढाई महीने में शहर को सेसैनिटाइज करने पर खर्च कर दिया।

विजय प्रतिदिन केमिकल स्प्रे मशीन की टैंक को पीठ पर लादकर बाइक पर निकल जाते हैं। शहर के संक्रमण प्रभावित इलाकों में घर-घर जाकर निशुल्क छिड़काव करने में अपना पूरा दिन लगा देते हैं। पिछले ढाई माह से यही उनकी दिनचर्या बन गई है।

शहर के टीला जमालपुरा इलाके में रहने वाले विजय ने कहा, ‘मैं अपने पिता और दादाजी की तरह सेना में जाना चाहता था, लेकिन मां के चलते नहीं जा पाया। कोरोना संकट के दौरान लगा कि देश के लिए कुछ करने का यही वक्त है। लॉकडाउन के दौरान मेरी दुकान बंद हो गई। ऐसे में मैंने सोशल मीडिया के जरिये लोगों को बताया कि मैं सैसैनिटाइजेशन का कार्य मुफ्त में करने के लिए उपलब्ध हूं। इसके बाद लोग मुझे बुलाने लगे।’

विजय ने बताया कि बाइक खरीदने के लिए 70 हजार से अधिक की बचत की थी। इस काम के लिए मेरे एक दोस्त ने अपनी बाइक दे दी। उसके बाद मैंने बचत की धनराशि दो स्प्रे मशीन, पीपीई किट, सैनिटाइज करने के लिए केमिकल आदि सामान खरीदने में लगा दी। कंटेनमेंट जोन में जाकर सैनिटाइज करने लगा, उसके बाद कुछ लोग सेवा जारी रखने के लिए वित्तीय मदद करने आगे आए हैं। लॉकडाउन खुलने पर दो दिन पहले ही उन्होंने अपनी दुकान दोबारा खोली है। फिलहाल ग्राहक ज्यादा नहीं आ रहे हैं, इसलिए मैं सैसैनिटाइजेशन के लिए बाहर जा रहा हूं।

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